सोमवार, 29 अगस्त 2022

नरवर किले के लिए पीछे सुल्तानपुर की ओर से बनेगा रोड़, किले पर ऊपर पहुँचेंगे वाहन

नरवर किले के लिए सबसे बडे और बहुत प्रतीक्षित प्रोजेक्ट का कार्य शीघ्र होगा प्रारंभ

टीम नरवर दर्शन : Team Narwar Darshan
नरवर किले के पार्श्व भाग का अवलोकन करते अधिकारीगण एवं स्थानीय जनप्रतिनिधि

नरवर. शिवपुरी से पहले नरवर जिला हुआ करता था। नरवर का प्राचीन किला अनेक ऐतिहासिक घटनाओं को समेटे हुए है। इस किले पर पहुँचने के लिए कोई व्यवस्थित मार्ग नहीं बन पा रहा था, लेकिन अब इस प्रोजेक्ट को हरी झंडी दे दी गयी है जिसके तहत किले के पीछे से सुल्तानपुर होकर रास्ता बनाया जाएगा।


नरवर को पर्यटन की दिशा में एक नई पहचान और नए आयाम स्थापित करने हेतु कई सालों से प्रयास चलते आ रहे हैं। जिसमें नरवर दुर्ग पर ऊपर के लिए पहुँच मार्ग बनाना सबसे महत्वपूर्ण और चुनौतीपूर्ण कार्य है। पूर्व में आगे की ओर से किले पर प्रवेश हेतु मार्ग बनाने के प्रयास किए गए, जो कि निर्माण की दृष्टि से अनुकूल न होने के कारण अधर में अटक कर रह गया। इस प्रकार कुछ न कुछ अटकलों की वजह से इसमें बाधाएं आती रहीं और यह पूर्ण ना हो सका। अब किले पर पहुँच मार्ग पीछे ग्राम सुल्तानपुर की ओर से बनाया जाएगा। जिस हेतु सभी आवश्यक तैयारियां एव मौका स्थल का मुआयना सक्षम अधिकारियों द्वारा किया गया है।
उल्लेखनीय है कि नवीन परिषद गठन के बाद से नवगठित नगर परिषद नरवर अध्यक्ष श्रीमती पदमा-संदीप माहेश्वरी द्वारा इस हेतु विशेष रुचि लेकर उच्च स्तरीय प्रयास किए जिसमें बीजेपी प्रदेश कार्यकारी समिति सदस्य संदीप माहेश्वरी एवं केबिनेट मंत्री दर्जा प्राप्त मध्यप्रदेश कुक्कुट एवं पशुधन विकास निगम अध्यक्ष व पूर्व विधायक करैरा श्री जसमन्त जाटव जी का विशेष सहयोग रहा। जिन्होंने किले पर ऊपर पहुँचने हेतु सड़क निर्माण के संबंध में केन्द्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री श्रीमंत ज्योतिरादित्य सिंधिया जी एवं लोकनिर्माण विभाग मंत्री मध्यप्रदेश श्री गोपाल भार्गव जी, लोकनिर्माण विभाग राज्यमंत्री श्री सुरेश राठखेड़ा जी को अवगत कराया तथा, इस प्रोजेक्ट हेतु राशि स्वीकृत कराने हेतु समय-समय पर पत्राचार किया। जिसके क्रम में कार्यवाही करते हुए लोकनिर्माण विभाग के प्रशासनिक अधिकारियों द्वारा रविवार दिनांक 28-08-2022 को मौके का स्थल निरीक्षण किया गया। जानकारी के अनुसार अब किले पर प्रवेश हेतु सड़क निर्माण पीछे की ओर से किया जाएगा, क्योंकि वहाँ से सुगमता से मार्ग बनाया जा सकता है, जो कि निर्माण के अनुकूल है। तथा पिछले प्रोजेक्ट की शेष राशि से किले के अग्रभाग में अधूरे पड़े कार्य को पेवरब्लॉक्स लगाकर पूर्ण किया जाएगा।


स्मरण रहे कि नरवर राजा नल-दमयंती की प्राचीन नगरी है, जिसका उल्लेख महाभारत के वनपर्व में आता है। श्रीहर्ष रचित विश्व प्रसिद्ध संस्कृति ग्रन्थ नैषिधीयचरितम में नरवर को प्राचीन निषध देश बतलाया गया है, जो बाद में नलपुल नाम से जाना गया और वर्तमान में नरवर नाम से जाना जाता है। इस अवसर पर श्रीमती माहेश्वरी ने कहा कि हमें नरवर को न केवल प्रदेश में, बल्कि देश में सबसे स्वच्छ, सुन्दर और आकर्षक नगर बनाना है। पर्यटन की अपार संभावनाएं हमारे नरवर में मौजूद हैं, जिन पर काम करते हुए नगर में लोगों को न केवल रोजगार उपलब्ध होगा, बल्कि उनके जीवन स्तर में भी सुधार होगा। नरवर को पर्यटन पटल पर अपेक्षित स्थान दिलाने हेतु हमारे प्रयास सदैव जारी रहेंगे। उन्होंने स्थानीय नागरिकों से शहर की बेहतरी में सहयोग हेतु आग्रह भी किया।

इस मौके पर विशेष रूप से बीजेपी प्रदेश कार्यसमिति सदस्य संदीप माहेश्वरी, करैरा जनपद अध्यक्ष पुष्पेन्द्र-जसमन्त जाटव, नप नरवर उपाध्यक्ष बिजेंद्र सिंह गुर्जर, पूर्व नप अध्यक्ष एवं इतिहासकार डॉ. मनोज माहेश्वरी, पूर्व नप उपाध्यक्ष एवं वर्तमान परिषद में पार्षद राकेश सोनी, सांसद प्रतिनिधि फिरोज़ खान, नप पार्षद मुलायम सिंह कुशवाह, युवा भाजपा नेता रोहित मिश्रा मगरौनी तथा स्थानीय प्रशासन जिसमें PWD SDO हरिओम अग्रवाल, PWD के एग्जेक्युटिव इंजीनियर, नवागत तहसीलदार नरवर विजय कुमार शर्मा एवं संबंधित हलका पटवारी समेत अन्य कर्मचारी तथा स्थानीय नागरिक मौजूद रहे।


आपस में विमर्श-चर्चा करते नरवर केे स्थानीय जनप्रतिनिधिगण


नरवर दर्शन
(भारतीय इतिहास, विरासत, पर्यटन, प्रकृति, शिक्षा, साहित्य, कला और संस्कृति का संवाहक)


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